नौसिखिए तहसीलदार और थाना प्रभारी पर बर्बरतापूर्ण दुकान हटाने का आरोप,पीड़ित ने गरियाबंद जिलाधीश से शिकायत कर लगाई न्याय की गुहार - Savdha chhattisgarh
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नौसिखिए तहसीलदार और थाना प्रभारी पर बर्बरतापूर्ण दुकान हटाने का आरोप,पीड़ित ने गरियाबंद जिलाधीश से शिकायत कर लगाई न्याय की गुहार

.बिना नोटिस दिए तहसीलदार ने हटा दिया ठेला,पुलिस बुलाकर महिला और बच्चे को 6 घंटे बिठाकर किया नियम विरुद्ध काम.

 


परमेश्वर कुमार साहू,गरियाबंद। प्रशासनिक अधिकारियों को आम जनता की समस्या सुनने और उसके परेशानी सहित मांगो के निराकरण करने के लिए नियुक्त किया गया है।जिसे जनता का सेवक कहा जाता है।लेकिन यही जनता के फरियाद को सुनने के बजाय अपने अधिकारों का दुरुपयोग करे तो फिर जनता का शासन प्रशासन से भरोसा उठना जायज है।शासन और उच्च विभाग द्वारा अपने नुमाइंदों को समय समय पर निर्देश दिया जाता है की आम जनता के साथ मित्रवत व्यवहार करे और उसके समस्या का त्वरित निराकरण करे।बावजूद जिम्मेदार तानाशाही कर अपने पद का गलत इस्तेमाल करने से बाज नहीं आ रहे है।

कुछ ऐसा ही मामला गरियाबंद जिले के छुरा ब्लॉक के सबसे बड़े ग्राम पाण्डुका में देखने को मिला। जहा एक गरीब जो रोजी रोटी के लिए एक छोटा सा दुकान डालकर आजीविका का साधन स्थापित किए थे उसे तहसीलदार छुरा द्वारा बिना नोटिस दिए अपने पद का दुरुपयोग करते हुए हटा दिए।जबकि नियमता कोई भी व्यक्ति अगर अतिक्रमण करता है तो उसे पहले नोटिस दिया जाता है।लेकिन इसका पालन उस जिम्मेदार अधिकारी ने नही किया।जिसको नियम पालन कराने की अहम जिम्मेदारी है।जबकि बर्बरता पूर्वक एक गरीब के पेट में लात मरते हुए उसके दुकान को हटा दिया।पीड़ित भारती सिन्हा पाण्डुका निवासी ने बताया की उसके पति भागवत सिन्हा बेरोजगारी के चलते एक छोटा सा ठेला खरीदकर नहर किनारे दुकान का संचालन कर रहे थे जिसको कुछ ही दिन हुआ था।अचानक तहसीलदार आए और मेरे घर में बुलावा भेजा जहा मेरे पति नही थे तो मैं अपने 3 साल के बच्चे के साथ दुकान के पास चला गया।जिसके बाद तहसीलदार ने पाण्डुका थाना से पुलिस बुलाकर मुझे थाना भिजवा दिए और थाना में पुलिस द्वारा मुझे 6 घंटे बिठाकर मुझे मानसिक रूप से प्रताड़ित किए।जिससे मैं काफी विक्षुब्ध हु और दुकान को नियम विरुद्ध हटाने से हमारे सामने रोजी रोटी की समस्या हो गई है।जिसकी शिकायत गरियाबंद कलेक्टर से की हु।पीड़ित ने कहा की अगर न्याय नहीं मिला तो आमरण अनशन पर बैठूंगी।वही इस मामले को लेकर छुरा एसडीएम भूपेंद्र कुमार साहू को मामले की जानकारी देने फोन किया गया।लेकिन उन्होंने फोन नही उठाया।वही तत्कालीन थाना प्रभारी भोला राजपूत को संपर्क करने का प्रयास किया गया लेकिन संपर्क नही हो पाया।

गरियाबंद कलेक्टर से ऑनलाइन शिकायत कर  पीड़ित ने लगाई न्याय की गुहार


आपको बता दे की मामले में पीड़ित भारती सिन्हा द्वारा अपने साथ हुए घटना की शिकायत और न्याय की गुहार जिलाधीश गरियाबंद के ऑनलाइन पोर्टल में की है।जिसको स्वीकार कर व्हाटशप के माध्यम से संबंधित विभाग द्वारा पावती भी भेजा गया है।जो शासन की एक महत्वपूर्ण सुविधा है और लोग एक लंबा दूरी न कर अपनी शिकायत ऑनलाइन कर जागरूकता का परिचय भी दे रहे है।

वर्जन 1

इस मामले पर आप एसडीएम साहब से बात कर लीजिए।

सतरूपा साहू,तहसीलदार,छुरा।

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