कुकुरमुत्ते की तरह पनप रहे जेपी पर फिर पड़ताल:छुरा ब्लॉक के ग्राम पोंड में झोलाछाप डॉक्टर दिनेश साहू और रोशन निर्मलकर बेखौफ होकर कर रहे है हर बीमारी का इलाज,शटर बंदकर कर रहे हैं मरीजों के स्वास्थ के साथ खिलवाड़
.विभाग की हिदायत के बावजूद भी उड़ा रहे सारे नियम की खुलेआम धज्जियां,इन झोलाछाप का भारी धौंस,आखिर किसका संरक्षण,स्वास्थ संचालक से अब होगी शिकायत.
परमेश्वर कुमार साहू@गरियाबंद। छुरा ब्लॉक के ग्राम पोंड में एक लंबे समय से झोलाछाप डॉक्टर दिनेश साहू और रोशन निर्मलकर सभी बीमारियों का विशेषज्ञ बनकर इलाज कर लोगो को लूटने में लगे है।एमबीबीएस की तर्ज पर हर प्रकार के बीमारियों का इलाज कर रहे है।जिसकी शिकायत होने के बाद भी विभाग द्वारा किसी भी प्रकार से कोई ठोस कार्यवाही नही किया।जिससे इसके हौसले बुलंद है और खुलेआम अवैध रूप से क्लीनिक संचालन कर मरीजों के स्वास्थ के साथ खिलवाड़ करने में लगे है।या यू कहे की विभाग की सरपरस्ती में स्वास्थ का अवैध कारोबार खूब फल फूल रहा है।इन दोनो झोलाछाप डॉक्टरों के खिलाफ पहले भी लिखित शिकायत हो चुका है और दर्जनों बार खबर प्रकाशन भी हो चुका है।इसके बावजूद भी विभाग के जिम्मेदारों के कान में जूं तक नहीं रेंग रहा है।जिन अधिकारियों को नर्सिंग होम एक्ट जैसे कानून की पालन कराने की जिम्मेदारी है वही इस कानून को बेंच खा गए है।जिसके कारण अब इस कानून से लोगो का भरोसा उठ गया है।नतीजन गांव गांव,गली गली झोलाछाप डाक्टरों ने अपना दुकान सजा रखा है।उक्त दोनों झोलाछाप डॉक्टर कवरेज करने वाले पत्रकारों पर हमला और दुर्व्यवहार करने से भी बाज नहीं आते है।एक लंबे समय से नर्सिंग होम एक्ट कानून को ठेंगा दिखाकर सरेआम अपना अवैध व गोरखधंधा वर्षो से चला रहे है।जिस पर लगाम लगाने में जिम्मेदार जिला प्रशासन पूरी तरह से नाकाम साबित हुए है।अब इस मामले को लेकर स्वास्थ संचालन से जल्द शिकायत होगी और नर्सिंग होम एक्ट के जिम्मेदार नोडल अधिकारी भी कटघरे में होंगे।क्योंकि मामले को लेकर उच्च न्यायालय में जनहित याचिका भी दायर किया जायेगा।
इस मामले को लेकर मीडिया द्वारा पड़ताल किया गया जहा रोशन निर्मलकर और दिनेश साहू ग्राम पोंड में शटर बंद कर अपने घर में इलाज करते मिले ।जो कैमरे में मीडिया द्वारा कैद किया गया।वही झोलाछाप डॉक्टर रोशन निर्मलकर द्वारा पड़ताल करने गए हमारी मीडिया टीम को बेखौफ होकर ये भी कह दिया की जो छापना है छाप लो,मेरा कुछ नही होगा।आखिर इतना घमंड और संरक्षण इन अवैध कारोबारियों को कन्हा से मिल रहा है है ये बड़ा सवाल है।लेकिन एक बात जरूर बता दे की इन अकड़ और झोलाछाप डाक्टरी एक दिन मरीजों का जान लेकर रहेगा।कुछ महीनो पहले इसी क्षेत्र में पाण्डुका कालोनी में एक मरीज की जान झोलाछाप डॉक्टरों के वजह से जाने की जानकारी मिली थी।लेकिन मामले में लीपापोती हो गया।जिससे विभाग अनजान है।रही बात इन झोलाछाप डाक्टरों की तो ये लोग हर बीमारी के साथ पैसे की लालच में बड़े से बड़े गंभीर बीमारी का इलाज करने से भी परहेज नहीं करते है।ये जेपी अपने आपको किसी विशेषज्ञ से कम नहीं समझते है।जो मरीजों को लूटने पेशी की तरह दौड़ाते भी है।लेकिन आम जनता इसकी चाल को कभी समझ नही पाया है।
फर्जी डॉक्टर यूनियन संघ बनाकर दिखा रहे है धौंस
आपको बता दे की जिले में जितने भी झोलाछाप डॉक्टर है उसके पास किसी भी प्रकार से वैध डिग्री नही है।आठवी पास भी एमबीबीएस की तर्ज पर अपना अवैध कारोबार खोल लिया है।जिले में ऐसे कईयों बेरोजगार है जो डिग्री लेकर बैठे है लेकिन कानून के विपरित कार्य नही करना चाहते।जो आज भी नौकरी की तलाश में है।लेकिन झोलाछाप डॉक्टरी करने की मानो होड़ सी मची हुई है और इसका संगठन भी और लीडर भी तैयार हो चुका है।जो झोलाछाप डाक्टरों को विभाग के साथ सेटिंग कर खूब अवैध धंधा चला रहा है।मामले में दिलचस्प बात ये की झोलाछाप डॉक्टरों ने जब यूनियन बनाया है और उस यूनियन का पंजीयन किस आधार पे कराया है।क्योंकि 90%से अधिक झोलाछाप डॉक्टरों के पास किसी भी प्रकार न तो डिग्री है और न ही पढ़ाई के साथ कोई वैध दस्तावेज भी नही है।जबकि अपना फर्जी यूनियन बनाकर अवैध कारोबार को बढ़ाने खूब कोशिश कर रहे है।अगर ऐसा है तो हर कोई झोलाछाप डाक्टरी खोलकर पैसा कमा सकता है।इस पर लगातार खबरे कवरेज करते रहेंगे चाहे जान जोखिम में क्यों न डालना पड़े।हमारी कोशिश है की सरकार द्वारा चलाए जा रहे स्वास्थ केंद्र जिसमे लोगो को निशुल्क व प्राथमिक उपचार की सुविधा मिल रही गई उसका लाभ ले।क्योंकि शासन आम लोगो की स्वास्थ को लेकर बेहतर स्वास्थ सुविधा को लेकर हर तरीके से जतन कर रहे है।लेकिन आम नागरिकों भी सरकार की मंशा को समझने और सहयोग की जरूरत है।ताकि कोई भी व्यक्ति झोलाछाप डॉक्टरों के झांसे में आकर अपना जान न गंवाएं।झोलाछाप डॉक्टरों पर हम दिखाएंगे आपको लगातार खबर और इसके अवैध कारनामों को आपके समझाएंगे।